भारत और ऑस्ट्रेलिया (IND vs AUS) के बीच 5 मैचों की टेस्ट सीरीज बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी (Border-Gavaskar Trophy) के नाम से ऑस्ट्रेलिया की मेजबानी में खेली जा रही है. इस टेस्ट सीरीज का दूसरा मैच आज एडिलेड में खत्म हुआ. इस मैच में ऑस्ट्रेलियाई टीम (Australia Cricket Team) ने टीम इंडिया को 10 विकेट से हराकर सीरीज को 1-1 से बराबर कर दिया है. भारत की हार के सबसे बड़े गुनाहगार विराट कोहली, रोहित शर्मा, ऋषभ पंत, यशस्वी जायसवाल और रविचंद्रन अश्विन रहे.
टीम इंडिया (Team India) ने दूसरे टेस्ट मैच में बल्लेबाजी और गेंदबाजी दोनों में बेहद ही खराब प्रदर्शन किया, जिसका खामियाजा टीम इंडिया को हार के रूप में चुकाना पड़ा. हालांकि इस हार के साथ ही भारतीय टीम के एक खिलाड़ी का करियर लगभग पूरी तरह से खत्म हो चूका है और अब उसकी टीम इंडिया में वापसी नामुमकिन है.
रविचंद्रन अश्विन ने एडिलेड में अपने प्रदर्शन से भारतीय फैंस को किया निराश
भारतीय टीम के स्टार ऑफ स्पिनर रविचंद्रन अश्विन को पहले टेस्ट मैच में मौका नही दिया गया था, टीम मैनेजमेंट ने उनकी जगह वाशिंगटन सुंदर को मौका देने का फैसला किया था. हालांकि रोहित शर्मा की वापसी के साथ ही वाशिंगटन सुंदर की जगह रविचंद्रन अश्विन को पिंक बॉल टेस्ट में प्लेइंग 11 में शामिल किया गया, लेकिन वो अपने अनुभव के अनुसार कुछ खास प्रदर्शन नही कर सके, जिसके बाद से अब माना जा रहा है कि उन्हें आगे मौका मिलना मुश्किल है.
रविचंद्रन अश्विन ने पहली पारी में शानदार बल्लेबाजी का परिचय दिया, लेकिन सिर्फ 22 रन बनाकर वो एलबीडब्ल्यू होकर मिचेल स्टार्क की गेंद पर पवेलियन लौट गये, वहीं गेंदबाजी के दौरान 18 ओवर में 53 रन खर्च करके सिर्फ 1 विकेट ही हासिल कर सके, वहीं दूसरी पारी में उन्हें गेंदबाजी करने का मौका तो नही मिला, लेकिन बल्लेबाजी में भी वो कुछ खास नही कर सके और सिर्फ 7 रन बनाए.
फॉर्म के अलावा उम्र बन रही अश्विन के राह का रोड़ा
रविचंद्रन अश्विन अब 38 साल के हो चुके हैं. एक गेंदबाज के लिए 38 साल की उम्र में खेलना एक चुनौती होता है, ऐसे में अगर भारतीय टीम आईसीसी वर्ल्ड टेस्ट चैम्पियनशिप फाइनल में जगह बनाने में सफल रही तो फाइनल स्क्वाड का अश्विन हिस्सा हो सकते हैं, लेकिन अगर ऐसा नही हुआ तो बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी ही उनके करियर की आखिरी सीरीज हो सकती है.
रविचंद्रन अश्विन ने जिस तरह का प्रदर्शन एडिलेड में किया है, उसके बाद उन्हें आगे के मैचों में मौका मिलना मुश्किल ही लग रहा है. ऐसे में एडिलेड टेस्ट ही रविचंद्रन अश्विन के करियर का अंतिम मैच साबित हो सकता है. इसके बाद शायद उन्हें संन्यास का ऐलान करना पड़े, क्योंकि भारत के पास वाशिंगटन सुंदर, कुलदीप यादव, वरूण चक्रवर्ती, अक्षर पटेल और युजवेंद्र चहल समेत कई युवा और प्रतिभाशाली खिलाड़ी अपनी बारी का इंतजार कर रहे हैं.