भारतीय टीम (Team India) के पूर्व हेड कोच रवि शास्त्री (Ravi Shastri) की कोचिंग में टीम इंडिया ने एक मजबूत टीम बनाई थी, रवि शास्त्री ने महेंद्र सिंह धोनी (MS Dhoni) और विराट कोहली (Virat Kohli) की कप्तानी में टीम इंडिया के साथ काम किया. रवि शास्त्री की कोचिंग में टीम इंडिया ने बेहद शानदार प्रदर्शन किया था. हालांकि 2 टर्म के बाद उनकी जगह राहुल द्रविड़ और फिर अब गौतम गंभीर को टीम इंडिया का कोच बनाया गया है.
हालांकि अब रिपोर्ट्स की मानें तो इंग्लैंड में रवि शास्त्री (Ravi Shastri) को कोच बनाने की मांग तेज हो गई है. इंग्लैंड के पूर्व खिलाड़ी चाहते हैं कि रवि शास्त्री (Ravi Shastri) ही इंग्लैंड के कोच की भूमिका निभाए.
इंग्लैंड के मोंटी पनेशर ने की Ravi Shastri को कोच बनाने की मांग
इंग्लैंड के पूर्व स्पिनर मोंटी पनेसर ने एक यूट्यूब के दौरान इस बात की मांग उठाई कि भारतीय टीम के पूर्व कोच रवि शास्त्री (Ravi Shastri) को इंग्लैंड का नया कोच बनाना चाहिए. मोंटी पनेशर ने इस पॉडकास्ट के दौरान कहा कि
“रवि शास्त्री के पास ऑस्ट्रेलिया को उसी की धरती पर हराने का अनुभव मौजूद है. शास्त्री की अगुवाई में टीम इंडिया ने कंगारुओं को 2018-19 और 2020-21 में हराया था. भारतीय टीम ऑस्ट्रेलिया की धरती पर लगातार दो बार बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी को जीतने में सफल रही थी.”
रवि शास्त्री (Ravi Shastri) का कार्यकाल बतौर कोच काफी बेहतर रहा है, इस दौरान भारतीय टीम भले ही आईसीसी टूर्नामेंट नही जीत सकी, लेकिन टीम इंडिया को बनाने में रवि शास्त्री की बड़ी भूमिका रही थी. रवि शास्त्री ने विराट कोहली की कप्तानी में एक मजबूत टीम बनाने का काम शुरू किया था, जिसे राहुल द्रविड़ ने आगे बढ़ाया.
ब्रैंडन मैकुलम को हटाने की उठी मांग
इंग्लैंड के केकेआर के पूर्व कोच और न्यूजीलैंड के दिग्गज खिलाड़ी ब्रैंडन मैकुलम को अपना कोच बनाया था, जिसके बाद इंग्लैंड ने बैजबॉल क्रिकेट खेलना शुरू किया, जो शुरुआत में तो सफल रहा, लेकिन पिछले 2 सालों से इंग्लैंड का प्रदर्शन बेहद खराब रहा है. आईसीसी वर्ल्ड टेस्ट चैम्पियनशिप फाइनल में अब तक इंग्लैंड जगह नही बना सका है.
इस सत्र में भी इंग्लैंड की टीम पहले 2 मैचों में भारत और उसके बाद 4 इंग्लैंड से मैच गंवा चुकी है. इंग्लैंड की टीम इस सत्र में अब तक बस 2 मैच जीत सकी है और 1 मैच ड्रा करा सकी है. ऐसे में अब ब्रैंडन मैकुलम को इंग्लैंड के कोचिंग पद से हटाने की मांग तेज हो गई है.
