Rohit Sharma: भारत और पाकिस्तान (IND vs PAK) के बीच आईसीसी चैम्पियंस ट्रॉफी 2025 (ICC Champions Trophy 2025) का मुकाबला आज खेला जा रहा है. भारत के फैंस एक तरफ इस मैच को लेकर जहां उत्साहित हैं, वहीं दूसरी तरफ एक बयान के बाद भारतीय टीम (Team India) के कप्तान रोहित शर्मा (Rohit Sharma) के संन्यास की खबरें तेज हो गई हैं. रोहित शर्मा को लेकर उनके करीबी और मुंबई के लिए खेल चुके दिग्गज भारतीय खिलाड़ी संजय मांजरेकर (Sanjay Manjrekar) के बयान के बाद खबरें तेज हो गई है.
रोहित शर्मा के संन्यास को लेकर ऐसा क्या चल रहा है, आइए जानते हैं भारत के पूर्व खिलाड़ी संजय मांजरेकर ने क्या कुछ कहा है आइए जानते हैं.
Rohit Sharma के संन्यास पर संजय मांजरेकर ने दिया हिंट
भारत के पूर्व खिलाड़ी संजय मांजरेकर ने ईएसपीएनक्रिकइन्फो से बात चीत के दौरान इस बात से इनकार कर दिया है कि रोहित शर्मा (Rohit Sharma) को वो 2 साल बाद आईसीसी विश्व कप 2027 में खेलते हुए नहीं देख रहे हैं. संजय मांजरेकर ने कहा कि रोहित शर्मा को भारत और पाकिस्तान के इस मैच में खुलकर खेलना चाहिए, क्योंकि ये उनका आखिरी भारत-पाकिस्तान मैच हो सकता है.
संजय मांजरेकर का मानना है कि रोहित शर्मा (Rohit Sharma) इस आईसीसी चैम्पियंस ट्रॉफी 2025 के बाद संन्यास का ऐलान कर सकते हैं. संजय मांजरेकर ने रोहित शर्मा के संन्यास को लेकर ईएसपीएनक्रिकइन्फो से कहा कि
“मुझे लगता है (कि) अगर उन्होंने फैसला कर लिया है, तो क्या रोहित शर्मा 2027 क्रिकेट विश्व कप के लिए वहां हो सकते हैं? मुझे ऐसा नहीं लगता, बहुत संभावना नहीं है. तो, फिर, यह हो सकता है, जैसा कि आप सुझाव दे रहे हैं, यह अंतिम टूर्नामेंट हो सकता है. मैं उम्मीद कर रहा हूं कि रोहित शर्मा वहां जाएंगे.”
संजय मांजरेकर ने रोहित शर्मा को बताया सबसे नि:स्वार्थी क्रिकेटर
भारतीय टीम के दिग्गज खिलाड़ियों में शुमार संजय मांजरेकर ने रोहित शर्मा को दुनिया का सबसे नि:स्वार्थी क्रिकेटर बताया है. उनका मानना है कि रोहित शर्मा कभी खुद के आंकड़े के लिए नही खेलते हैं, वो हमेशा से ही देश के लिए और टीम के लिए खेलते हैं. इसका उदाहरण संजय मांजरेकर ने रोहित शर्मा के आईसीसी विश्व कप 2023 के विश्व कप की पारी को लेकर दिया है.
संजय मांजरेकर ने रोहित शर्मा को लेकर कहा कि
“2023 विश्व कप (भारत में) रोहित शर्मा की लोकप्रियता बढ़ गई. उन्हें रोहित शर्मा के बारे में जो पसंद आया वह यह था कि उन्होंने देखा कि कप्तान निस्वार्थ था, वहां गया… (वह) शतक बना सकता था, लेकिन (इसके बजाय) उसने टीम को शानदार शुरुआत दी और उसके बाद आने वाले खिलाड़ियों के लिए चीजें आसान कर दीं.”