Gautam Gambhir: आईसीसी टी20 विश्व कप 2024 समाप्त हो चूका है और भारतीय टीम ने 11 साल बाद कोई आईसीसी ट्रॉफी अपने नाम की है। भारतीय टीम (Team India) ने साल 2013 में चैंपियंस ट्राॅफी (ICC Champions Trophy) के रूप में भारत ने अपनी आखिरी आईसीसी ट्राॅफी जीती थी। तब से लेकर अब तक 11 साल हो गए थे, लेकिन टीम इंडिया अब तक कोई भी आईसीसी ट्राॅफी नहीं जीत सकी थी।
अब इसको लेकर भारतीय टीम के पूर्व क्रिकेटर गौतम गंभीर (Gautam Gambhir) ने बड़ा खुलासा किया है। उन्होंने हाल ही में दिए एक इंटरव्यू बताया है कि टीम इंडिया 12 साल बाद भी ट्राॅफी नहीं जीत पायी है।
Gautam Gambhir ने इन्हें ठहराया दोषी
गौतम गंभीर एएनआई को दिए इंटरव्यू में बताया कि
“पिछले कुछ सालों से क्रिकेट में मीडिया और ब्रॉड कास्टर की दखलंदाजी काफी बढ़ गई है। मीडिया और ब्रॉड कास्टर ने खिलाड़ियों पर अतिरिक्त दबाव बनाना शुरू कर दिया है। वें पूरी टीम को नही बल्कि एक खिलाड़ी को स्टार बना देते हैं, जिसके कारण खिलाड़ियों पर दवाब बढ़ जाता है।”
इसके अलावा उन्होंने कहा कि
“ब्रॉडकास्टर बड़े मैचों के खिलाड़ियों पर बार, बार पैकेज बनाकर उन पर दबाव बनाते हैं, जिसका असर उनके खेल पर भी देखने को मिलता है। इसके अलावा टीम में स्टार खिलाड़ियों का कल्चर भी खत्म होना चाहिए। ताकि सभी एक समान हो सकें।”
Gautam Gambhir ने कहा सिर्फ 1 या 2 खिलाड़ियों को देते हैं पूरा श्रेय
गौतम गंभीर ने अपनी बात को बढ़ाते हुए आगे कहा,
‘एक टीम में 15 लोग हैं। वे उतनी ही मेहनत करते हैं उस ड्रेसिंग रूम में बैठने के लिए, वे उतना ही पसीना बहाते हैं इंडिया को रिप्रजेंट करने के लिए, लेकिन एक ब्रॉडकास्टर एक या दो लोगों की पीआर मशीनरी बनकर रह जाएगा, तो वो बाकी 13 भले ही खुलकर न बोल पाएं, लेकिन अंदर उनको क्या महसूस होगा। सबसे बड़ा गुनाह यह है कि किसी की मेहनत का क्रेडिट किसी और को दिया जाना हमारे यहां बहुत समय से यही होता आया है।’
गौतम गंभीर (Gautam Gambhir) ने आगे कहा कि
“इस बारे में जब भी बोला जाता है तो यही कहा जाता कि बाकी खिलाड़ियों से हमें व्यूरशीप नहीं मिलती है। अगर आपको व्यूरशीप नहीं मिलता तो कोई आपको यह भी नहीं कहता कि मैच दिखाने के लिए इतना पैसा दीजिए। इतना पैसा बहा रहे हैं, तो इसमें खिलाड़ियों की गलती नहीं है। खिलाड़ियों का हक है कि उनके प्रदर्शन का क्रेडिट उन्हें देना चाहिए।”